पुत्रियों का गर्भपात ही आज लिंगानुपात असंतुलन का सबसे बड़ा कारण है : श्री प्रहलाद जी महाराज

गर्भपात ही आज लिंगानुपात असंतुलन का सबसे बड़ा कारण है

मोर परिवार द्वारा आयोजित भागवत कथा का भव्य शुभारंभ कल गुरुवार को लोहिया रिसोर्ट में हुआ। कथा वाचन श्री रामसुखदास जी के कृपापात्र श्री प्रहलाद जी महाराज राम कुटीर, वृंदावन वाले द्वारा किया जा रहा है। उन्होंने आज दूसरे दिन बताया कि दुनिया जब शुरू हुई तब पुत्रो के अनुपात में पुत्रियां 50% ज्यादा थी, जो घटते घटते दुनिया में कुछ जगहों पर आधे से भी कम रह गई है। लिंगानुपात बढ़ाने के लिए सभी श्रोताओं से पुत्रियों को गर्भ में ना मारने का निवेदन किया। इससे पूर्व लक्ष्मणगढ़ पीठ श्री श्रद्धानाथ आश्रम के पीठाधीश्वर परम श्रद्धेय श्री वैद्यनाथ जी महाराज के शिष्य प्रकाशनाथ जी महाराज ने आशीर्वचन कहे। आयोजनकर्ता कांताप्रसाद मोर व कमल कुमार मोर ने बताया सुबह पहले पांच बजे प्रार्थना सभा का आयोजन हुआ व प्रभात फेरी निकाली गई। योगाचार्य राजाराम शर्मा ने भी योग शिविर लगा कर अपनी सेवाएं दी। व्यवसाई जुगल किशोर अग्रवाल, अरुण खेतान, मणिशंकर काबरा, संजीव नेहरा कैलाश मोदी, मदन मावलीया, देवकीनंदन परीक, फूलचंद मोर, Dr. N M गोयल, शिवप्रसाद सोनी, CA रविन्द्र शर्मा, सुभाष बगड़िया, श्रीकांत मिश्रा, आदि 550 से ज्यादा गणमान्य पुरुष, महिलाएं, व बच्चो ने कथा का श्रवण किया।

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