राजस्थान में खींवसर उपचुनाव को लेकर जाट नेताओं के बीच बयानबाजी ने तूल पकड़ लिया है। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संयोजक हनुमान बेनीवाल और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है।
बेनीवाल के एक बयान के बाद, जिसमें उन्होंने कांग्रेस के जाट नेताओं की आलोचना की, डोटासरा ने खींवसर में अपनी चुनावी रैली में तंज करते हुए जवाब दिया। उन्होंने कहा कि बेनीवाल के आरोपों के बावजूद, कांग्रेस के जाट नेताओं जैसे बलदेव मिर्धा, रामनिवास मिर्धा, वसुंधरा राजे, अशोक गहलोत और सचिन पायलट समेत अन्य नेताओं में से कोई तो भला होगा। डोटासरा ने यह बयान खास तौर पर बेनीवाल के तंज के बाद दिया, जिसमें उन्होंने कई जाट नेताओं को ‘बेकार’ कहा था।
दूसरी ओर, दिव्या मदेरणा और हनुमान बेनीवाल के बीच भी तीखी बहस देखने को मिली। दिव्या ने आरोप लगाया कि बेनीवाल ने उन्हें हराने के लिए कई सभाएं कीं, जबकि बेनीवाल ने पलटवार करते हुए कहा कि दिव्या को उन्होंने ही MLA बना दिया था और उनकी आलोचना न कर रहे हैं। इस बयानबाजी के बीच दिव्या ने ट्विटर पर अपना पक्ष रखा और कहा कि बेनीवाल के हमलों से उन्हें अफसोस हो रहा है कि वह जिंदा हैं। इन विवादों की जड़ें पुरानी हैं, जिसमें 2018 में बेनीवाल और कांग्रेस नेता हरीश चौधरी के बीच पथराव की घटना का जिक्र किया गया था। इसके बाद से दोनों के बीच तनाव बढ़ गया, और कांग्रेस के जाट नेताओं को बेनीवाल की बढ़ती प्रभावशाली राजनीति से चुनौती मिलने लगी।