वो सड़क जिसपर बहते हैं ट्रैक्टर-टैंकर और ट्रक, डोटासरा का ट्वीट भी नहीं बदल पाया तस्वीर

तस्वीरें झूठ नहीं बोलती, सीकर की नवलगढ़ रोड की ये तस्वीर, नई तो नहीं है. लेकिन हालात पुराने हैं. जिस पर गोविंद सिंह डोटासरा के ट्वीट का भी असर नहीं हुआ.

सीकर शहर की एक सड़क ऐसी है जो बरसात के दिनों में नदिया दरिया का रूप ले लेती है. आवाजाही बन्द हो जाती है। लोग घरों में कैद रहने को मजबूर हो जाते है। इलाका है सबसे व्यस्तम सड़क नवलगढ़ पुलिया रोड़। कारण है पानी की निकासी नही होना। धरने प्रदर्शन कर लोग थक चुके है। अब आमरण अनशन की लोगो ने चेतावनी दे दी है.

प्रदेश भर में मानसून का दौर पिछले करीब 1 महीने से जारी है. कई इलाकों में जहां मानसून से चारों तरफ हरियाली छाई हुई है, वहीं सीकर की नवलगढ़ रोड पर 3-4 फीट पानी भरा होना आम बात हो चुकी है.वो बात अलग है कि रोड पर जल निकासी प्रोजेक्ट के लिए 13 करोड़ का बजट भी जारी हो चुका है. लेकिन आज तक उस पर कोई काम नहीं हो पाया.

 

एक तरफ जहां नवलगढ़ रोड और पिपराली रोड को पूरे देश में सीकर के एजुकेशन हब के रूप में पहचाना जाता है, लेकिन बारिश के दौरान स्टूडेंट्स को जलभराव के बीच से होकर गुजरना पड़ता है. यहीं नहीं लगातार बारिश ,जलभराव और कीचड़ के चलते व्यापारी अपनी दुकान नहीं खोल पा रहे हैं और घाटे में हैं.

इस इलाके की समस्या के समाधान की मांग को लेकर सैंकड़ो बार प्रदर्शन हो चुके है, लेकिन समस्या जस की तस है. पानी भरने से यहां के लोगों का गुजरना दुश्वार हो गया है. सबसे अधिक कोचिंग कॉलेज भी इसी इलाके में हैं। अधिकांश बच्चे भी इसी इलाके में रहते है जिन्हें आवाजाही में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. परेशान स्थानीय लोग और व्यापारी अब आमरण अनशन की बात कर रहे हैं.

पीसीसी चीफ गोविन्द डोटासरा भी एक व्यक्ति का बनाया वीडियो ट्वीट कर जिला प्रशासन को समस्या समाधान के लिए भी कह चुके है, इसके बाद एक युवक टावर पर चढ़ गया था. इसके बाद कलक्टर ने जल्द समस्या समाधान का आश्वासन दिया है.

नवलगढ़ रोड के व्यापारी नेमीचंद कुमावत ने बताया कि नवलगढ़ रोड पर बारिश के दौरान होने वाले जलभराव की समस्या को दूर करने के लिए सरकार ने 3 से 7 महीने पहले ही 13 करोड़ रुपए का बजट जारी किया था. लेकिन राजनीतिक कारणों के चलते प्रोजेक्ट पर काम शुरू नहीं किया गया है.

3 दिन पहले सीकर के जमुनालाल बजाज ऑडिटोरियम के शिलान्यास कार्यक्रम में भी सीएम अशोक गहलोत ने इस बात की चर्चा की थी. जब गोविन्द डोटासरा ने इस समस्या के समाधान की मांग की. नेमीचंद ने कहा कि पूर्व में वसुंधरा सरकार के समय भी इस मुद्दे पर काफी चर्चा हुई. लेकिन आज तक इस समस्या का कोई हल नहीं निकल पाया है.

नवलगढ़ रोड पर ट्रैक्टर में सवार होकर जाते हुए अभ्यर्थी।

बात सिर्फ बारिश के पानी की हो तो बात अलग है लेकिन यहां तो नगर परिषद दूसरे इलाकों का पानी नवलगढ़ रोड पर बने सैंपवेल में लेकर आ रहा है. व्यापारियों ने बताया कि  बारिश होने के 24 घंटे बाद भी पानी और कीचड़ की सफाई नहीं हो पाती है.

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