सीकर के धावक संजीव कुल्हरी ने फिर बढ़ाया मान, खारदुंग ला चैलेंज में जीत हासिल कर पेश की मिसाल……

सीकर निवासी संजीव कुल्हरी ने एक बार फिर अपने दृढ़ संकल्प, समर्पण और कड़ी मेहनत के बल पर सीकर का किया नाम रोशन

सीकर निवासी संजीव कुल्हरी ने एक बार फिर अपने दृढ़ संकल्प, समर्पण और कड़ी मेहनत के बल पर सीकर का नाम रोशन किया है। 6 सितंबर 2024 को आयोजित विश्व की सबसे ऊंची अल्ट्रा मैराथन खारदुंग ला चैलेंज में संजीव ने शानदार प्रदर्शन कर सफलता प्राप्त की। यह 72 किमी लंबी कठिन मैराथन लगभग 6000 मीटर की ऊंचाई पर होती है, जहां ऑक्सीजन की कमी और हिमालय की चुनौतियों के बीच दौड़ना असली सहनशक्ति की परीक्षा होती है।संजीव ने इस मैराथन को 12 घंटे में सफलतापूर्वक पूरा किया, जो न केवल उनकी शारीरिक क्षमता का प्रदर्शन है, बल्कि मानसिक दृढ़ता का भी प्रतीक है। इस दौड़ में दुनिया भर के धावकों के साथ कदम से कदम मिलाते हुए, संजीव ने अपनी इस जीत को कैंसर मरीजों को समर्पित किया।

गंभीर बीमारी से उबरने के बाद, संजीव ने अपनी जिंदगी को एक नई दिशा दी और मैराथन दौड़ने को अपना जुनून बना लिया। उनकी यह जीत न केवल खेल जगत में एक नई प्रेरणा है, बल्कि समाज के प्रति उनकी संवेदनशीलता का भी उदाहरण है।मैराथन में सफलता के बाद जब वे सीकर लौटे, तो शहर के शिक्षा जगत के कई प्रमुख लोग उनसे मिलने पहुंचे।

प्रिंस एडुहब के चेयरमेन जोगेन्द्र सुंडा, केशवानंद स्कूल के डायरेक्टर रामनिवास ढाका, और यूरो इंटरनेशनल स्कूल के डायरेक्टर शिवराम चौधरी ने डैफोडिल्स वर्ल्ड स्कूल में उनका भव्य स्वागत किया। संजीव को साफा पहनाकर और बुके भेंट कर सम्मानित किया गया, साथ ही गति और शक्ति का प्रतीक अश्व का स्टैचू भी भेंट किया गया।संजीव कुल्हरी की यह प्रेरणादायक यात्रा हर उस व्यक्ति के लिए एक मिसाल है, जो जीवन में कठिनाइयों का सामना कर रहा है।

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